वर्णमाला-भाग २-व्यंजन
प्यारे बच्चो ,कल मैने आपको हिन्दी का पहला पाठ स्वर ज्ञान पढाया था ,याद है न वर्णमाला-भाग १ अच्छे से याद कर लिया न आपने ,मै सुनने भी आऊँगी आज से शुरु करते है दूसरा पाठ ,मतलब व्यंजन तो यह पढो दूसरा पाठ
वर्णमाला-व्यंजन
2.
क कबूतर ख खरगोश
पियो दूध आएगा जोश
ग गमला और घ से घोडा
घोडा दुम दबा के दौडा
ङ् खाली पर आधा अक्षर
बच्चो पूरा हुआ क-वर्ग
3.
च चरखा और छ से छाता
मेरी माँ को सब कुछ आता
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वर्णमाला सब सिखलाएँगे
अब चलते है ,फिर आएँगे
बाय-बाय
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7 पाठकों का कहना है :
मैम मैम हमने याद कर लिया.. टेस्ट कब है...
सीमा जी हमे सबकुछ आप से ही सीखना है ,व्यंजन तो भूल ही गए हम व्यंजन बनाने के चक्कर में ,एड्मिसन कब मिलेगा ???????????
NAMASKAAR,
APNI VARANMALA KO AUDIO BANAO TO AUR ACHCHA LAGEGA KYONKI AAJ KAL SCHOOLS MEIN CHHOTA A AHURA BADA A HI PADHAYA JATA H.
GOOD EFFORT AND THANKS FOR CREATIVITY.
RAMESH SACHDEVA
DIRECOTR HPS SR. SEC. SCHOOL, MANDI DABWALI (HARYANA)
MOB. 09896081327
नमस्कार रमेश जी ,
आपका बाल-उद्यान मे हार्दिक स्वागत है |आपकी बहुमूल्य टिप्पणी और सुझाव के लिए बहुत-बहुत धन्यवाद |
हिन्दयुगम ऐसा मंच है जहां निष्पक्ष रूप से हर रचना और रचनाकार को सम्मान दिया जाता है |इसके साथ
जुडना मै अपना सौभाग्य समझती हूँ | जहां तक आडियो वाली बात है ,वो हिन्द-युगम द्वारा बाल-उद्यान मे
प्रकाशित अच्छी कविताओं को आवाज़ देने का सराहनीय कार्य किया जाता है |इससे पहले मेरी दो कविताओं
को आवाज़ दी गई :-चाँद पे होता घर जो मेरा ,
परियों की शहज़ादी |आप यहां
http://podcast.hindyugm.com/2008/04/chaand-pe-hota-ghar-jo-mera.html
http://podcast.hindyugm.com/2008/04/pariyon-ki-shahzadi.html
सुन सकते हैं | अगर मेरा यह प्र्यास भी अच्छा लगेगा तो मुझे यकीन है इसको
भी आवाज़ अवश्य मिलेगी |
ररररर.....घ नॉटी बवॉय (सॉरी राघव जी ) अभी इतनी क्या जल्दी है ,पूरी वर्णमाला तो सीख लो और अभी और भी बहुत
कुछ सीखना है और आपका सरप्राईजिंग टेस्ट होगा |अगर कम मार्क्स लिए न तो.............:(
नीलम....(जी) लेट-लतीफ | वैसे लेट फीस से आप कभी भी एड्मिशन ले सकती है लेकिन पहले पिछला पूरा पाठ याद
करना पडेगा ..........:)
आप सबका धन्यवाद
सीमा सचदेव
सीमा जी बहुत सुंदर प्रयास कर रही हैं आप। जब आप अनुनासिक व्यंजन (जैसे ङ, ञ इत्यादि) की बात रही हैं तो उसकी गेयात्मकता में कुछ कमी दिख रही है, संभव हो तो दुबारा संपादित करके देखें।
मैं अभी २ दिन पूर्व मीनाक्षा धन्वंतरि से मिला था, उनको मैंने बताया कि सीमा जी आजकल इस तरह का प्रयोग कर रही हैं, जिसे आपकी आवाज़ चाहिए। उन्होंने बताया कि वो पिछले ४ महीनों से भारत में हैं, और बहुत व्यस्त हैं। इसलिए रिकॉर्डिंग में विलम्ब हो सकता है।
मेरे विचार से आपको अपनी आवाज़ में भी इसे रिकॉर्ड करना चाहिए। कैसे करना है, उसके लिए तो मैं हूँ ही :)
सीमाजी!
वंदे मातरम.
सार्थक प्रयास के लिए साधुवाद. ध्वन्यांकन के पहले संपादन करें. हर अक्षर से बनानेवाले तीन-चार शब्द मिलाकर काव्य पंक्तियाँ बनायें तो हम बच्चों का शब्द भंडार भी भरेगा,
अद्भुत प्रतिभा है आपमें -नमन
श्याम सखा श्याम
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