नीति जी सबसे बुद्धिमान बालिका
पहेलियाँ हमारी जवाब आपके ,
नीति जी सबसे बुद्धिमान बालिका घोषित की गई हैं ,उसके पश्चात् दूसरे नम्बर पर हमारे नए खिलाडी संजय जी है ,तीसरे नम्बर पर हमेशा की तरह लेट लतीफ़ चौहान साहब हैं ,मनु जी अपनी धुन में ही मस्त कुछ उत्तरों की नक़ल करके चलते बने
अब बात करते हैं ,इन महाशय की जो सीधे मंगल ग्रह से पहेलियाँ बताते हैं ,जनाब आपके जवाब बहुत ही असंतुष्ट
करते हैं ,पहली पहेली में सारे विकल्प दे दिए इन्होने ,अब इन्हे कौन समझाय की हमारे देश में पानी की कमी
बढती ही जा रही है ,इसलिए सर से पानी सिर्फ़ और सिर्फ़ स्नानघर में ही गिरता है,
चौथी पहेली में समय या वक्त को वरयीता दी जायेगी पर शब्द भी ग़लत नही होगा
१ स्नानागार,
२ टाई
३ दरवाजे
४ समय
५ मक्का-मदीना (सउदी अरब)
इस बार काफ़ी कम लोग आए ,इस बार काफी कम लोग आये ,लगता है सब बहुत उदास हैं ,शन्नो को बहुत मिस कर रहें हैं ,पर ऐसी कोई बात नहीं है ,वो भारत आ गयी हैं और बहुत जल्दी मनु और स्वप्नदर्शी जैसे मनमौजी तथा चौहान जैसे लेट लतीफ़ को ठीक करने आ रही हैं
आप क्या कहना चाहेंगे? (post your comment)
5 पाठकों का कहना है :
आखिर मेरी पढाई काम आ ही गई, मैं बुद्धिमान बन ही गई...अब तो मुझे एक नहीं चोकलेट का पूरा डिब्बा मिलेगा..और सारे बच्चे मेरे लिए तालियाँ भी बजायेगे...पर लगता है शन्नो जी की तरह कक्षा के और भी विद्यार्थी गर्मियों की छुट्टी मानाने गए है..देखते है कब तक लौटते है सब...ओके ..बाय बाय...
अरे ये क्या...
हमने तो बच्चा पार्टी को ये कहा के अब हम नए मोनीटर है क्लास के....
देखो देखो....हम क्या बन गए हैं....क्या इतराए थे हम...
पर ये सब पढ़ते ही बच्चा पार्टी हमें यूं घूर कर देख रही है..
कह रही है... (....यू.......!!!!......नकलची..........!!!!!!!! ......)
पर आपको बधाई हो नीति जी...
नीति ,
क्या तुम्हे अभी तक चोकलेट नहीं मिली ,हमने तो पिछली बार ही पार्सल भेजा था ,ये डाक विभाग वाले भी न ,चलो जब हम तुम्हारे घर आयेंगे तब ढेर सारी चोकलेट लायेंगे ,एक बात और ज्यादा चोकलेट खाने से दांत खराब हो जाते हैं |
हहह्हहाहः हा हा हः हहह
लगता है के शन्नो जी के साथ साथ या तो बाकी के बच्चे भी छुट्टियां मनाने चले गए हैं या फिर इस खडूस मानिटर के डर से.....
अब हम कहाँ से लायें शन्नो जी वाली अदाएं..
पिछली बार तो टीचर जी आपसे मैंने सिर्फ एक चोकलेट मांगी थी, क्योकि पिछली बार में ईमानदार बनी थी और इमानदारी से कहूँ तो आपने मुझे एक भी चोकलेट नहीं दी थी! इसलिए सोचा मौका अच्छा है चलो पूरा डिब्बा ही माँगा जाये.....पर क्लास में बच्चे ही नहीं अपनी चोकलेट किसे बांटू इतनीसारी ?????बैसे मई पेप्सोडेंट करती हूँ ये देखिये..ही ही. ही.. एक भी दांत ख़राब नहीं हुआ,,,,,,हाँ और आप जब घर आये न तो ५ स्टार का बड़ा डिब्बा लेकर आना... आराम से एक महीने तक खाती रंगी....दांतों की चिंता नहीं मम्मी का पेप्सोडेंट है न...
आप क्या कहना चाहेंगे? (post your comment)